दीजो बरसाने को वास
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( राधे, तूँ बड़भागिनी, कौन तपस्या कीन,
तीन लोक, तारन तरन, सो तेरे आधीन॥ )
श्री राधे श्री राधे श्री राधे श्री राधे
दीजो, बरसाने, को वास, लाड़ली श्री राधे ॥
श्री, राधे, जय, श्याम राधे ॥
दीजो, बरसाने, को वास, लाड़ली श्री राधे ॥
नित, नित तेरा, दर्शन पाऊँ ।
लाड़, प्यार से, तुझे रिझाऊँ ॥
अब, सुन लीजो, ये पुकार... ॥
लाड़ली, श्री राधे...
दीजो, बरसाने, को वास...
मधुकरी, माँग, माँग मैं लाऊँ ।
टूक, प्रशादी, के मैं पाऊँ ॥
और, गाऊँ, तेरे गुणगान... ॥
लाड़ली, श्री राधे...
दीजो, बरसाने, को वास...
बरसानो, छोड़, कहूँ, ना जाऊँ ।
या, रज में, जीवन मैं बिताऊँ ॥
बस, यही, आस यही चाह... ॥
लाड़ली, श्री राधे...
दीजो, बरसाने, को वास...
इतनी, सी बात, मान लो श्यामा ।
निज, चरणों से, लगा लो श्यामा ॥
मोहे, दीजो, चरणन का प्यार... ॥
लाड़ली, श्री राधे...
दीजो, बरसाने, को वास, लाड़ली, श्री राधे ।
श्री, राधे, जय, श्याम राधे ॥
लाड़ली, श्री राधे...
दीजो, बरसाने, को वास...
अपलोडर- अनिलरामूर्तिभोपाल