निक्का जिहा मंदिर बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके
बह गयी आसन लाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके
मंदिर दे विच रामजी आये,
सीता जी नु नाल ले आये,
सीता रूप बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके,
निक्का.......
मंदिर दे विच श्याम जी आये,
राधा जी नु नाल लेआये,
राधा रूप बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके,
निक्का.......
मंदिर दे विच भोला जी आये,
गौरा जी नु नाल लेआये,
गौरा रूप बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके,
निक्का......
मंदिर दे विच विष्णु जी आये,
लष्मी जी नु नाल लेआये,
लष्मी रूप बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके,
निक्का......
मंदिर दे विच ब्रह्मा जी आये,
सरस्वती जी नु नाल लेआये,
सरस्वती रूप बनाके माँ मेरी बह गयी आसन लाके,
निक्का......