ऐसी धूम मचायो जी ब्रिज में आइयो नन्द गोपाल.
आयो नन्द गोपाल देखो आयो नन्द के लाल,
सब नाचो गाओ जी ब्रिज में आयो नन्द के लाल,
मोर पपीहा दादुर बोले कानो में मधुर रस गोले,
भवरे करे तेरा भखान कैसे खेल रचायो जी,
कैसा खेल रचायो जी ब्रिज में ऐसा किया कमाल,
ऐसी धूम मचायो जी ब्रिज में आइयो नन्द गोपाल.
घुमड़ घुमड़ कर बादल आये,
छम छम छम बुँदे बरसाए,
श्रिस्ति करे तेरे गुण गान,
ऐसा रास रचइयो जी ब्रिज में नाचे बाल गोपाल,.
ऐसी धूम मचायो जी ब्रिज में आइयो नन्द गोपाल.
कोयल पंचम सवार में बोले,
मोर भी देखो मस्ती में ढोले,
की धोलियाँ करे कृष्ण गोपाल,
सोढ़ी समज न पाइयो जी ब्रिज में ऐसा मचा धमाल
ऐसी धूम मचायो जी ब्रिज में आइयो नन्द गोपाल.