तर्ज – बहुत प्यार करते है।
कर दो साईं हम पर रहमों कर्म,
तेरा नाम भूले ना,
तेरा नाम भूले ना,
जन्मों जनम,
करदो सांई हम पर रहमो कर्म।।
शिरडी में है बाबा धाम तुम्हारा,
लगता है हमको स्वर्ग से प्यारा,
शिरडी में आयेगे हम,
शिरडी में आयेगे हम,
जब तक है दम,
करदो सांई हम पर रहमो कर्म।।
सबका है मालिक सांई बाबा हमारा,
सांई नाम से ही चलता मेरा गुजारा,
जीवन मे खुशिया आई,
जीवन मे खुशिया आई,
मिटे सारे गम,
करदो सांई हम पर रहमो कर्म।।
कैसे करूँ मैं बाबा तेरा शुक्रराना,
‘दिलबर’ दिया जो तूने ये नजराना,
‘वैष्णवी’ को प्यार तुम्हारा,
‘वैष्णवी’ को प्यार तुम्हारा,
मिले हर दम,
कर दो साईं हम पर रहमों कर्म,
तेरा नाम भूले ना,
तेरा नाम भूले ना,
जन्मों जनम,
करदो सांई हम पर रहमो कर्म।।