मन तो है चंचल,
तन तो है पिंजरा,
पिंजरे में है तेरा वास,
मन तो है चंचल,
तन तो है पिंजरा,
पिंजरे में है तेरा वास,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता.....
राधा है अगर मिश्री,
तो मिठास है बिहारी,
राधा है अगर मोहिनी,
तो मोहन है बिहारी,
तन का क्या पता,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता.....
राधा है अगर गंगा,
तो धार है बिहारी,
राधा है अगर भोली,
तो चंचल है बिहारी,
इक दूजे के रंग में रंगे हैं,
इक है चंदा एक चकोरी,
इक दूजे के रँग में रहे हैं,
इक है चंदा एक चकोरी,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता......
बरसाने की लाड़ली राधा,
हर लेती है सब दुःख बाधा,
राधा के संग झूमें कान्हाँ,
कान्हाँ के संग झूमीं सखियाँ,
ये अंबर बोले राधा,
ब्रज मंडल बोले राधा,
कान्हाँ की मुरली बोले राधा,
राधा राधा बस राधा,
इश्क त्रिष्णा ओ मेरे कृष्णा,
मीरा रोवे दिन रात,
विष क्या होता शंभू से पूछो,
मीरा से पूछो ना ये बात,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता....
गोपाल गोविन्द बोल मनः
हरी हरी बोल मनः
कृष्ण राधे कृष्ण बोल मनः
राधे श्याम बोल मनः
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता,
राधे, राधे राधे बोल मनः
तन का क्या पता....