बेरूखी न श्याम इस कदर कीजिये,
हम पे अब तो अपनी नजर कीजिये,
मेरा दिल तुम्हारा ये घर हो गया,
मेरा आसरा तेरा दर हो गया,
जब से तेरा श्याम मैं हो गया,
दुनिया से बस बे खबर हो गया,
अब तो मेरी भी खबर लीजिये,
बेरूखी न श्याम इस कदर कीजिये,
मुकदर तुम्ही को बनाया है श्याम,
सभी हाल तुम को बताया है श्याम,
कर्म कीजिये कुछ भला कीजिये,
रूसा न तुम इस तरह कीजिये,
नजरे अब तो अपनी इधर कीजिये,
बेरूखी न श्याम इस कदर कीजिये,
मंजूर तेरा हर इक फैसला,
करदो खत्म अब तो ये फासला,
सहे कब तक जुदाई भला,
शर्मा का टुटा है होंसला,
इधर कीजिये या उधर कीजिये,
बेरूखी न श्याम इस कदर कीजिये,